Haryana News: हरियाणा में फर्जी दस्तावेजों के जरिए बना पटवारी, फिर नायब तहसीलदार, 40 करोड़ की जमीन रिलीज मामले में हुआ बड़ा खुलासा

 
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Haryana News: हरियाणा के कुरुक्षेत्र से बड़ी खबर आ रही है। यहां नए बस स्टैंड के पास 40 करोड़ से अधिक मूल्य की जमीन को फर्जी तरीके से रिलीज कराने की कोशिश में बड़ा खुलासा हुआ है। इस मामले में भूमि अर्जन कार्यालय पंचकूला के तत्कालीन नायब तहसीलदार शिवराज सिंह की भूमिका अब गंभीर जांच के घेरे में आ गई है। अब उनकी नौकरी की वैधता पर भी सवाल उठने लगे हैं।

जांच में सामने आया है कि शिवराज सिंह ने वर्ष 1995 में बिना पटवार परीक्षा पास किए ही हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (HSVP) व भू-अभिलेख विभाग में तत्कालीन अधिकारियों की मिलीभगत से अनुबंध पर पटवारी की नौकरी हासिल की। इसके बाद वह बिना आवश्यक योग्यता व प्रक्रिया के नायब तहसीलदार तक पदोन्नत हो गया।

करीब 30 वर्षों तक भूमि अर्जन विभाग में सेवा देने वाले शिवराज ने न केवल नियमों को ताक पर रखकर सरकारी नौकरी पाई, बल्कि बड़े स्तर पर फर्जीवाड़ा भी किया। कुरुक्षेत्र में करोड़ों की जमीन को अवैध रूप से रिलीज कराने की कोशिश के दौरान मामला उजागर हुआ।

जांच में आरोप सही पाए जाने के बाद एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) पंचकूला के इंस्पेक्टर श्यामलाल की शिकायत पर शिवराज सिंह समेत अन्य जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ धोखाधड़ी, षड्यंत्र रचना व फर्जी दस्तावेज तैयार करने जैसी गंभीर धाराओं में केस दर्ज किया गया है।

फिलहाल आरोपी शिवराज सिंह वर्तमान में रोहतक के भूमि अर्जन कार्यालय में नायब तहसीलदार के रूप में तैनात है, लेकिन अब उसकी नौकरी और भविष्य दोनों ही संकट में हैं।