Manpreet Singh: हरियाणा में किसान के बेटे ने पास की UPSC की परीक्षा, बने आईआईएस अधिकारी

Manpreet Singh: हरियाणा सरकार में सहायक सूचना और जनसंपर्क अधिकारी के पद पर कार्यरत मनप्रीत सिंह का चयन प्रतिष्ठित भारतीय सूचना सेवा (आईआईएस) में हो गया है। यह परिणाम मंगलवार को संघ लोक सेवा आयोग (UPSC) की ओर से घोषित किया गया। मनप्रीत सिंह की यह उपलब्धि न केवल व्यक्तिगत उपलब्धि है, बल्कि क्षेत्र के लिए भी गर्व का विषय भी है। वह मूल रुप से हांसी के रहने वाले हैं।
जानकारी के मुताबिक, मनप्रीत सिंह वर्तमान में बतौर AIPRO झज्जर जिले में अपनी सेवाएं दे रहे हैं। वह एक सामान्य किसान परिवार से आते हैं। उनके पिता मोहन लाल छोटे किसान हैं और मां हाउसवाइफ हैं।
खबरों की मानें, तो मनप्रीत सिंह ने पत्रकारिता और जनसंचार में उच्च शिक्षा प्राप्त की और क्षेत्र में पत्रकार के रूप में सालों तक सक्रिय भूमिका निभाई। समाज के मुद्दों को उजागर करना और जनसरोकार की रिपोर्टिंग करना उनका जुनून रहा। बीते साल उनका हरियाणा सरकार में सहायक सूचना और जनसंपर्क अधिकारी के रूप में चयन हुआ था और अगले ही साल उनका चयन भारतीय सूचना सेवा में हो गया है।
क्या बोले मनप्रीत सिंह
मन प्रीत सिंह ने कहा कि यह सिर्फ मेरी नहीं, बल्कि, मेरे माता-पिता, परिवार, शिक्षकों और उन सभी का सपना था जिन्होंने मुझ पर विश्वास रखा। मेरा यह मानना है कि जीवन में निरंतर हमें मंजिल की फिक्र किए बगैर मेहनत करनी चाहिए। नेक नियत से मेहनत करने से जीवन में रास्ते अवश्य खुलते हैं। आईआईएस में चयन मेरे लिए सिर्फ करियर की उपलब्धि नहीं, बल्कि राष्ट्र निर्माण में सहयोग करने का बेहतरीन अवसर है।
युवाओं के लिए प्रेरणा
मनप्रीत सिंह की यह उपलब्धि उन सभी युवाओं के लिए एक प्रेरणा है, जो सीमित संसाधनों में रहते हुए भी बड़े सपने देखने का साहस रखते हैं। खासकर ग्रामीण पृष्ठभूमि से आने वाले छात्रों को उनका सफर यह सीखाता है कि आत्मविश्वास के लिए साधनों से ज़्यादा ज़रूरत आत्मविश्वास, अनुशासन और समर्पण की होती है।
चाचा और ताऊ से मिली प्रेरणा
खबरों की मानें, तो मनप्रीत सिंह ने बताया कि भारत सरकार की नौकरी में चयनित होने की प्रेरणा परिवार से ही मिली। उनके चाचा सुरेंद्र सिंह इंटेलिजेंस ब्यूरो (IB) में अधिकारी हैं और ताऊ निरंजन सिंह इन्फोर्समेंट डायरेक्टोरेट (ED) में बड़े अधिकारी रहे हैं। उन्होंने बताया कि चाचा और ताऊ से हमेशा भारत सरकार की नौकरी हासिल करने की प्रेरणा मिलती थी।