Haryana: हरियाणा सरकार के इस बड़े प्रोजेक्ट पर लगी कोर्ट की रोक, जाने वजह ?

मिली जानकारी के अनुसार, जिसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने सरकार को नोटिस जारी कर 15 अक्टूबर तक प्रोजेक्ट पर रोक लगा दी। Haryana News
जानकारी के मुताबिक, देश के पांच रिटायर वन अधिकारियों और पर्यावरण समूह पीपल फॉर अरावली ने हरियाणा सरकार की अरावली जंगल सफारी परियोजना को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है। मिली जानकारी के अनुसार, याचिकाकर्ताओं का कहना है कि यह प्रॉजेक्ट संवेदनशील ईको-सिस्टम के लिए विनाशकारी होगी और इसे तुरंत रोकने की जरूरत है। Haryana News
नहीं होगा कोई काम
मिली जानकारी के अनुसार, 8 अक्टूबर को सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने हरियाणा सरकार और केंद्रीय पर्यावरण मंत्रालय को नोटिस जारी किया है। चीफ जस्टिस बी.आर. गवई ने कहा कि अगली सुनवाई 15 अक्टूबर को होगी और तब तक परियोजना पर कोई भी काम नहीं किया जाना चाहिए। Haryana News
वॉटर रिचार्ज के लिए जरूरी
जानकारी के मुताबिक, याचिकाकर्ता और पर्यावरण समूह का कहना है कि अरावली की रक्षा करना केवल पर्यावरण संरक्षण के लिए ही नहीं, बल्कि दिल्ली-एनसीआर में वॉटर रिचार्ज और वन्यजीव आवास की सुरक्षा के लिए भी जरूरी है। Haryana News
नष्ट होगा अरावली
मिली जानकारी के अनुसार, याचिकाकर्ता रिटायर्ड वन संरक्षक हरियाणा डॉ. आरपी बलवान ने कहा कि यह योजना अरावली के सेंसिटिव ईको-सिस्टम को नष्ट कर देगी। राजस्व और पर्यटन बढ़ाने के लिए प्रस्तावित होटल, सड़कें, रेस्तरां, एक्वेरियम, जिप फ्लायर और मनोरंजन पार्क बड़े पैमाने पर पेड़ कटाई और सिस्टम के नुकसान का कारण बनेंगे। Haryana News
हॉटस्पॉट
जानकारी के मुताबिक, रिटायर्ड अतिरिक्त प्रधान मुख्य वन संरक्षक हरियाणा विनोद भाटिया ने बताया कि अरावली जैव विविधता का हॉटस्पॉट है। इससे वन्यजीव आवागमन और अस्तित्व दोनों प्रभावित होंगे। Haryana News
मिली जानकारी के अनुसार, वन अधिकारियों का भी कहना है कि अरावली एक सेंसिटिव एरिया है। यह प्रोजेक्ट पूरे इको-सिस्टम को बर्बाद कर सकता है।