हरियाणा बीजेपी की पूर्व सांसद सुनीता दुग्गल को हाईकोर्ट का नोटिस, झूठे आरोप लगाने का मामला

Sunita Duggal


Haryana News: पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट ने हरियाणा बीजेपी की पूर्व सांसद सुनीता दुग्गल को नोटिस जारी किया है। यह नोटिस रतिया पंचायत समिति के चेयरमैन केवल कृष्ण को अपहरण मामले में झूठे आरोप में फंसाने के आरोप पर आधारित है। याचिकाकर्ता केवल कृष्ण ने हाईकोर्ट में याचिका दायर कर दावा किया है कि उनके खिलाफ मामला उन्हें इस्तीफा देने के लिए दबाव बनाने और हाल ही में संपन्न विधानसभा चुनाव में सुनीता दुग्गल का विरोध करने के कारण गढ़ा गया था। विधानसभा चुनाव में सुनीता दुग्गल को हार का सामना करना पड़ा था।

हाईकोर्ट का आदेश

न्यायमूर्ति जसगुरप्रीत सिंह पुरी की अध्यक्षता वाली बेंच ने हरियाणा पुलिस को केवल कृष्ण के खिलाफ दर्ज मामले में कोई दंडात्मक कार्रवाई करने पर रोक लगा दी है। हाईकोर्ट ने कहा कि मामले की गंभीरता को देखते हुए अंतरिम राहत दी जा रही है।

क्या है मामला?

मामला फतेहाबाद जिले के रतिया स्थित लाली गांव के नवीन कुमार के कथित अपहरण से जुड़ा है। नवीन के भाई सतबीर सिंह की शिकायत पर एक जनवरी को केवल कृष्ण के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी। हालांकि, मामले की सुनवाई के दौरान नवीन ने अदालत में बताया कि उसका कोई अपहरण नहीं हुआ था। उन्होंने कहा कि एफआईआर का उद्देश्य केवल कृष्ण के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाने के लिए दबाव बनाना था।

याचिकाकर्ता की दलील

याचिकाकर्ता के वकील अमित खटकर ने अदालत में तर्क दिया कि सुनीता दुग्गल ने रतिया निर्वाचन क्षेत्र से चुनाव लड़ते समय केवल कृष्ण से समर्थन मांगा था। जब उन्होंने समर्थन नहीं दिया, तो बदले की भावना से सुनीता दुग्गल ने अपने राजनीतिक प्रभाव का इस्तेमाल करते हुए यह मामला दर्ज करवाया। वकील ने एफआईआर को रद्द करने की मांग करते हुए कहा कि यह राजनीतिक षड्यंत्र का हिस्सा है और केवल कृष्ण को उनके पद से हटाने के लिए रचा गया है।

हाईकोर्ट की टिप्पणी

हाईकोर्ट ने अपने आदेश में कहा, "आमतौर पर एफआईआर को रद्द करने की याचिका में पुलिस को दंडात्मक कदम उठाने से रोकने के लिए कोई अंतरिम राहत नहीं दी जाती। लेकिन जब विशेष परिस्थितियां अदालत के समक्ष प्रस्तुत की जाती हैं, तो न्याय की प्रक्रिया को सुरक्षित रखने के लिए अदालत हस्तक्षेप कर सकती है।"

हाईकोर्ट ने अगले एक सप्ताह तक मामले में किसी भी दंडात्मक कार्रवाई पर रोक लगाने का आदेश दिया है। अदालत अब इस मामले की विस्तृत सुनवाई करेगी।

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