हरियाणा में पुलिस विभाग रहा सबसे ज्यादा भ्रष्ट, 2024 में एसीबी ने पकड़े कुल 104 मामले, इतने पुलिस अधिकारियों ने ली घूस
Haryana News: हरियाणा की एंटी-करप्शन ब्यूरो (एसीबी) ने 2024 में 104 मामलों में अधिकारियों को रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ा। इनमें से 34 मामले पुलिस अधिकारियों के खिलाफ थे, जो किसी भी विभाग के खिलाफ दर्ज सबसे अधिक मामले हैं।
फरीदाबाद में सबसे बड़ा रिश्वत मामला
फरीदाबाद में एक मामले में दो सब-इंस्पेक्टर शामिल थे। सब-इंस्पेक्टर अर्जुन सिंह को 21 नवंबर को 12.5 लाख रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़ा गया। इसके अतिरिक्त, उसकी गाड़ी से 7.47 लाख रुपये बरामद हुए। यह रिश्वत साइबर धोखाधड़ी के मामले में दो व्यक्तियों को जमानत दिलाने के लिए मांगी गई थी। इस मामले में सह-अभियुक्त सब-इंस्पेक्टर राम मौके से फरार हो गया। यह 2024 में अब तक की सबसे बड़ी रिश्वत राशि की बरामदगी थी।
जांच और कार्रवाई
2024 में एसीबी ने 90 जांचों में से 47 राजपत्रित अधिकारियों, 57 गैर-राजपत्रित अधिकारियों और 29 निजी व्यक्तियों के खिलाफ आपराधिक मामले दर्ज करने की सिफारिश की।
- विभागीय कार्रवाई:
24 जांचों में, 31 राजपत्रित और 52 गैर-राजपत्रित अधिकारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की सिफारिश की गई। - मिश्रित कार्रवाई:
29 जांचों में, 33 राजपत्रित, 43 गैर-राजपत्रित अधिकारियों और तीन निजी व्यक्तियों के खिलाफ आपराधिक मामले और विभागीय कार्रवाई दोनों की सिफारिश की गई।
विशेष निरीक्षण
एसीबी के तकनीकी विंग ने 71 नागरिक कार्यों की समीक्षा की, जिसमें विभिन्न विभागों के 63 अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई और 2.82 करोड़ रुपये की वसूली की सिफारिश की गई।
अन्य प्रमुख मामले
26 नवंबर को कैथल में राजस्व विभाग के कनूनगो करमबीर सिंह को 5 लाख रुपये की रिश्वत लेते हुए पकड़ा गया। इसके अलावा, एक एचसीएस अधिकारी और एक आबकारी एवं कराधान अधिकारी को अलग-अलग छापों में गिरफ्तार किया गया।
कुल आंकड़े
2024 में एसीबी ने कुल 155 मामले दर्ज किए, जिनमें 104 ट्रैप केस शामिल थे। इनमें 88.29 लाख रुपये की रिश्वत राशि जब्त की गई। इस दौरान 86 व्यक्तियों को रंगे हाथ पकड़ा गया, जिनमें 6 राजपत्रित अधिकारी, 80 गैर-राजपत्रित अधिकारी और 31 निजी व्यक्ति शामिल थे। औसतन, हर महीने सात सरकारी कर्मचारियों को भ्रष्टाचार के आरोप में गिरफ्तार किया गया।
2023 के मुकाबले प्रदर्शन
2023 में एसीबी का प्रदर्शन बेहतर रहा था। उस साल 205 मामले दर्ज किए गए थे, जिनमें से 152 ट्रैप केस थे। इन मामलों में 30 राजपत्रित अधिकारी, 156 गैर-राजपत्रित अधिकारी और 40 निजी व्यक्ति गिरफ्तार किए गए थे। कुल 86.12 लाख रुपये की रिश्वत राशि जब्त की गई थी।
विभागवार आंकड़े
- 2024 में:
- 104 छापों में से 34 पुलिस विभाग पर थे।
- 11 मामले बिजली विभाग, 9 शहरी निकाय विभाग, 8 आबकारी एवं कराधान विभाग, 7 राजस्व विभाग और 6 स्वास्थ्य विभाग से जुड़े थे।
- 2023 में:
- 49 पुलिस अधिकारी, 21 राजस्व विभाग, 10 बिजली विभाग, 7 खाद्य एवं आपूर्ति विभाग और 6 शहरी निकाय विभाग के अधिकारी पकड़े गए थे।
डीजी, एसीबी का बयान
एसीबी के महानिदेशक आलोक मित्तल ने कहा, "भ्रष्टाचार के खिलाफ कार्रवाई तेज की जाएगी। सभी रिश्वत के मामलों को सख्ती से निपटाया गया है, और आने वाले दिनों में और कड़े कदम उठाए जाएंगे।"