दिल्ली कूच की तीसरी कोशिश करेंगे किसान, 101 किसानों का "मरजीवड़ा जत्था" करेगा नेतृत्व
अंबाला: किसान शनिवार दोपहर को शंभू बॉर्डर से दिल्ली कूच की अपनी तीसरी कोशिश करेंगे। इससे पहले, 6 और 8 दिसंबर को किसानों के दिल्ली कूच को हरियाणा पुलिस और अर्धसैनिक बलों ने नाकाम कर दिया था। इन प्रयासों के दौरान पुलिस ने प्रदर्शनकारियों पर आंसू गैस के गोले दागे, जिससे कई किसान घायल हो गए थे।
101 किसानों का "मरजीवड़ा जत्था" करेगा नेतृत्व
किसान मजदूर मोर्चा के नेता सरवन सिंह पंधेर ने बताया कि किसान नेता जसविंदर सिंह लोंगोवाल और मलकीत सिंह गुलामीवाला 101 किसानों के "मरजीवड़ा जत्था" का नेतृत्व करेंगे। किसानों का आरोप है कि सरकारी एजेंसियां उनके शांतिपूर्ण आंदोलन को बाधित करने और जनता की सहानुभूति को उनके खिलाफ करने की कोशिश कर रही हैं।
असामाजिक तत्वों के प्रवेश की आशंका
किसान नेताओं ने बताया कि उन्हें ऐसी जानकारी मिली है कि कुछ असामाजिक तत्व भीड़ में प्रवेश कर आंदोलन को भंग करने की कोशिश कर सकते हैं। उन्होंने कहा, "हमने इस बारे में अधिकारियों को सूचित कर दिया है और अपने स्वयंसेवकों को सतर्क कर दिया है।"
सुप्रीम कोर्ट की मध्यस्थता का स्वागत
किसानों ने सुप्रीम कोर्ट के उस निर्देश का स्वागत किया है जिसमें सरकार को किसानों से संवाद कर गतिरोध खत्म करने को कहा गया है। किसान नेताओं ने कहा कि सरकार को उनके मुद्दों को समझने और जल्द समाधान निकालने के लिए गंभीरता दिखानी चाहिए।
भाजपा सांसद के बयान से बढ़ा विवाद
इस बीच, शंभू बॉर्डर पर विरोध कर रहे किसान भाजपा के राज्यसभा सांसद रामचंद्र जांगड़ा के एक विवादित बयान से नाराज हैं। उनके बयान ने किसानों के बीच आक्रोश पैदा कर दिया है और प्रदर्शनकारियों ने इसकी कड़ी निंदा की है।
किसानों का कहना है कि उनका आंदोलन शांतिपूर्ण रहेगा और वे अपनी मांगों को लेकर प्रतिबद्ध हैं। देखना होगा कि शंभू बॉर्डर पर किसानों और प्रशासन के बीच तनावपूर्ण माहौल किस दिशा में आगे बढ़ता है।